व्यवहार न्यायालय परिसर में जिला विधिक सेवा प्राधिकार द्वारा किया गया राष्ट्रीय लोक अदालत का आयोजन

 व्यवहार न्यायालय परिसर में जिला विधिक सेवा प्राधिकार द्वारा किया गया राष्ट्रीय लोक अदालत का आयोजन       

जनक्रांति कार्यालय से राजेश कुमार वर्मा संग रविशंकर चौधरी अधिवक्ता की रिपोर्ट

दोनों पक्ष लाभान्वित होते हैं और लोगों को बिना किसी खर्च के न्याय मिलता है : जिला जज बटेश्वर नाथ पांडेय 

राष्ट्रीय लोक अदालत में विभिन्न न्यायालयों से संबंधित 581 मामलों का किया गया निष्पादन

राष्ट्रीय लोक अदालत में परिवार न्यायालय से संवंधित आए मुकदमे का निपटारा जिला जज बटेश्वर नाथ पाण्डेय ने किया


राष्ट्रीय लोक अदालत का दीप प्रज्वलित कर जिला जज ने सामूहिक रूप से किया शुभारंभ
           

समस्तीपुर, बिहार ( जनक्रांति हिन्दी न्यूज बुलेटिन कार्यालय 12 दिसम्बर, 2021)। समस्तीपुर जिला व्यवहार न्यायालय परिसर में शनिवार के दिन राष्ट्रीय लोक अदालत का आयोजन जिला विधिक सेवा प्राधिकार द्वारा किया गया।

जिसका शुभारंभ जिला एवं सत्र न्यायाधीश सह अध्यक्ष बटेश्वर नाथ पांडेय ने दीप प्रज्ज्वलित कर कार्यक्रम का अपने कुशल निर्देशन व नेतृत्व में सम्पन्न किया गया  ।

कार्यक्रम की शुरुआत से पहले जिला विधिक पारा वॉलेंटियर ने जिला जज के साथ ही मंचासीन न्यायाधीशों को फ़ूल का गमला देकर स्वागत किया।

वहीं उक्त कार्यक्रम में व्यवहार न्यायालय में नवनियुक्त न्यायाधीश को जिला जज के साथ ही अन्य न्यायाधीशों ने मोमेटो शील्ड देकर सभा में मंच से किया सम्मानित। 

व्यवहार न्यायालय परिसर में आयोजित राष्ट्रीय लोक अदालत की अध्यक्षता जिला एवं सत्र न्यायाधीश बटेश्वर नाथ पांडेय ने की। लोक अदालत के अवसर पर आयोजित कार्यक्रम सभा को अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश दशरथ मिश्रा, शैलेन्द्र कुमार, ब्रजेश कुमार, दिव्या वशिष्ठ, इत्यादि न्यायाधीशों ने भी संवोधित किया ।

सभा की अध्यक्षता कर रहे जिला जज बटेश्वर नाथ पांडेय ने सभा को संबोधित करते हुए लोक अदालत के उद्देश्यों की जानकारी देते हुए बताया कि इसमें दोनों पक्ष लाभान्वित होते हैं और लोगों को बिना किसी खर्च के न्याय मिलता है, इसके अलावा दोनों पक्षों की सहमति और समझौता के आधार पर निर्णय लिया जाता है।

वहीं न्यायाधीश दिव्या वशिष्ठ ने कहां की राष्ट्रीय लोक अदालत का मतलब है तुम्हारी भी जय जय और हमारी भी जय जय ।  मौके पर आयोजित लोक अदालत में  न्यायिक लंबित विभिन्न प्रकार के मामलों में 07 करोड़ 23 लाख  92 हजार 268 रुपए पर  समझौता हुआ। लोक अदालत में कुल 18 पीठों का गठन किया गया। इसमें न्यायालयों के कुल 581 लंबित विभिन्न प्रकार के मामलों का निपटारा 02  करोड़ 29 लाख 40 हजार 147 रुपये और पूर्व विवाद के 1294 मामलों का 04 करोड़ 94 लाख 62 हजार 123 रुपए की समझौता के आधार पर निष्पादन किया गया ।

राष्ट्रीय लोक अदालत में बैंक रिकवरी का सबसे अधिक मामले सामने आए। लोक अदालत में 1857 मामलों का निपटारा किया गया। जिसमें सबसे ज्यादा बैंक रिकवरी के 1294 मामलों का निष्पादन किया गया। लोक अदालत में परिवार न्यायालय से संवंधित वाद मामलों को स्वयं जिला जज ने किया नेतृत्व वहीं क्लेम, एमएसीटी, चेक बाउंस, विधूत  संवंधित मामले का निपटारा किया गया ।

वहीं एमएसीटी के 39 , क्रिमिनल कंपाउंडिंग केस के 443, बिजली बिल विधूत विभाग के केस 69, एन आई एक्ट के 06 के साथ ही विवाह संवंधित 03 व 12 अन्य मामलों का सुलह के आधार पर निपटारा करते हुए निष्पादित किया गया।

राष्ट्रीय लोक अदालत कार्यक्रम सभा का समापन जिला विधिक सेवा प्राधिकार के सचिव अभिषेक कुणाल के धन्यवाद ज्ञापन के साथ किया गया।

मौके पर कार्यक्रम में जिला विधिक सेवा प्राधिकार कार्यालय के कर्मचारी दीनानाथ, राजकुमार दत्त झा, प्रभात रंजन, विद्यानंद चौधरी, मो० रफी , व गणमान्य अधिवक्ता गण के साथ ही सैकड़ों की संख्या में न्यायार्थी आदि मौजूद थे।

जनक्रांति प्रधान कार्यालय से प्रकाशक/सम्पादक राजेश कुमार वर्मा द्वारा कार्यालय रिपोर्ट प्रकाशित व प्रसारित।

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