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बुंदेलखंड के दिग्गज नेता, जनपद पंचायत मोठ के पूर्व ब्लाक प्रमुख चरण सिंह यादव को डिस्टिक कोर्ट झांसी से मिली जमानत

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  बुंदेलखंड के दिग्गज नेता, जनपद पंचायत मोठ के पूर्व ब्लाक प्रमुख चरण सिंह यादव को डिस्टिक कोर्ट झांसी से मिली जमानत उत्तर प्रदेश त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव में पुलिस ने किया था मामला दर्ज. राजनीतिक साजिश, जमानत मिलने के बाद चरण सिंह यादव बबीना व मोठ ब्लाक प्रमुख चुनाव में मिली सफलता पर जनता का माना आभार बोले जनता के दुख दर्द में साथ रहूंगा : पंकज पाराशर छतरपुर जनक्रांति कार्यालय से स्पेशल रिपोर्टर डॉ०केशव आचार्य गोस्वामी की रिपोर्ट  भोपाल,मध्यप्रदेश ( जनक्रांति हिन्दी न्यूज बुलेटिन कार्यालय 01 अगस्त, 2021 ) ।  बुंदेलखंड में किसानों और युवाओं के लिए संघर्ष कर बबीना विधानसभा क्षेत्र के दिग्गज नेता, मध्य प्रदेश और उत्तर प्रदेश में पिछड़ा वर्ग के प्रभावशाली झांसी जिले की जनपद पंचायत मोठ से 40 वर्षों में अधिपत्य ब्लाक प्रमुख बनते आ रहे चरण सिंह यादव को डिस्टिक कोर्ट झांसी से जमानत मिल गई है l ब्लाक प्रमुख बबीना एवं मोठ के चुनाव में एक बार फिर अधिपत्य हासिल किया है l बबीना विधानसभा क्षेत्र के ब्लाक प्रमुख चुनाव में राजनीतिक षड्यंत्र कर साजिश करने का प्रयास किया अमित उन्होंने हार नहीं मा

आना चाहिए भास्कर का सच भी सामने : अखबार की आड़ में दूसरे धंधों की पर्दादारी करता रहा भास्कर बिजनेस समूह

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  आना चाहिए भास्कर का सच भी सामने : अखबार की आड़ में दूसरे धंधों की पर्दादारी करता रहा भास्कर बिजनेस समूह रिअल एस्टेट, बिजली-खनन, कपड़े से लेकर अनेक धंधों में अनियमिताएं, पर अखबार के जरिए इनकी पर्दादारी की जनक्रांति कार्यालय से वाट्सएप ग्रुप उमाशरण श्रीवास्तव की संप्रेषित संवाद भोपाल,मध्यप्रदेश ( जनक्रांति हिन्दी न्यूज बुलेटिन कार्यालय 22 जुलाई,2021 ) । दैनिक भास्कर बिजनेस समूह यूं तो अखबार व्यवसाय के लिए जाना जाता है, लेकिन हकीकत ये है कि अखबार की आड़ में दूसरे धंधों की पर्दादारी की गई है। दैनिक भास्कर बिजनेस समूह रिअल एस्टेट, बिजली-खनन, टैक्सटाइल फैक्ट्री, शिक्षा, मॉल, फिल्म प्रोड्यूसिंग से लेकर कई धंधों में शामिल हैं। इन धंधों की गड़बडिय़ों को ढंकने के लिए भास्कर ने अखबार का खूब इस्तेमाल किया। हद ये कि भोपाल में वन क्षेत्र केरवा में भास्कर ने सारे नियमों को अखबार के दम पर बदलवाकर संस्कार वैली नाम से स्कूल डाल दिया। जब यह स्कूल शुरू किया गया, तब पर्यावरण और वन क्षेत्र को नुकसान के खूब आरोप लगे। बावजूद इसके अखबार के जरिए गठजोड़ करके समूह ने स्कूल को वन क्षेत्र में ही शुरू कर दिया।