अध्यात्म विचार : शनि प्रदोष व्रत का लाभ शनि प्रदोष व्रत पूजा कैसे करें...

 अध्यात्म विचार : शनि प्रदोष व्रत का लाभ

                       शनि प्रदोष व्रत पूजा कैसे करें...

जनक्रांति कार्यालय से नागेन्द्र कुमार सिन्हा की अध्यात्म विचार


                     जय जय जय शनिदेव महाराज की जय 

अध्यात्म डेस्क, भारत ( जनक्रांति हिन्दी न्यूज बुलेटिन कार्यालय 04 सितंबर,2021)। जनक्रांति अध्यात्म डेस्क पर अध्यात्मिक विचार से जानते है आज शनि प्रदोष व्रत है कब और कैसे मनाये और इससे क्या लाभ होता है। 
शनिवार को प्रदोषकाल में त्रयोदशी तिथि हो तो उसे शनिप्रदोष कहा जाता है।
पंचांग के अनुसार, प्रत्येक महिने की दोनों पक्षों की त्रयोदशी तिथि पर प्रदोष व्रत किया जाता है। ये व्रत भगवान शिव को प्रसन्न करने के लिए किया जाता है। इस बार 04 सितम्बर, शनिवार को शनि प्रदोष व्रत है। इस दिन भगवान शिव की विशेष पूजा की जाती है। प्रदोष पर व्रत व पूजा कैसे करें और इस दिन क्या उपाय करने से आपका भाग्योदय हो सकता है, जानिए ।
ऐसे करें व्रत व पूजा
प्रदोष व्रत के दिन सुबह स्नान करने के बाद भगवान शंकर, पार्वती और नंदी को पंचामृत व गंगाजल से स्नान कराएं।*
इसके बाद बेल पत्र, गंध, चावल, फूल, धूप, दीप, नैवेद्य (भोग), फल, पान, सुपारी, लौंग, इलायची भगवान को चढ़ाएं।
पूरे दिन निराहार (संभव न हो तो एक समय फलाहार) कर सकते हैं) रहें और शाम को दुबारा इसी तरह से शिव परिवार की पूजा करें।
भगवान शिवजी को घी और शक्कर मिले जौ के सत्तू का भोग लगाएं। आठ दीपक आठ दिशाओं में जलाएं।
भगवान शिवजी  की आरती करें। भगवान को प्रसाद चढ़ाएं और उसीसे अपना व्रत भी तोड़ें।उस दिन  ब्रह्मचर्य का पालन करें।
करें ये उपाय
सुबह जल्दी उठकर स्नान आदि करने के बाद तांबे के लोटे से सूर्यदेव को अर्ध्य देें। पानी में आकड़े के फूल जरूर मिलाएं। आंकड़े के फूल भगवान शिवजी  को विशेष प्रिय हैं । ये उपाय करने से सूर्यदेव सहित भगवान शिवजी  की कृपा भी बनी रहती है और भाग्योदय भी हो सकता है।
कर्ज-मुक्ति के लिए मासिक शिवरात्रि

05 सितम्बर 2021 रविवार को मासिक शिवरात्रि है।
हर मासिक शिवरात्रि को सूर्यास्‍त के समय घर में बैठकर अपने गुरुदेव का स्मरण करके शिवजी का स्मरण करते- करते ये 17 मंत्र बोलें, जिनके सिर पर कर्जा ज्यादा हो, वो शिवजी के मंदिर में जाकर दिया जलाकर ये 17 मंत्र बोले।इससे कर्जा से मुक्ति मिलेगी ।
1) ॐ शिवाय नम:
2) ॐ सर्वात्मने नम:
3) ॐ त्रिनेत्राय नम:
4) ॐ हराय नम:
5) ॐ इन्द्र्मुखाय नम:
6) ॐ श्रीकंठाय नम:
7) ॐ सद्योजाताय नम:
8) ॐ वामदेवाय नम:
9) ॐ अघोरह्र्द्याय नम:
10) ॐ तत्पुरुषाय नम:
11) ॐ ईशानाय नम:*
12) ॐ अनंतधर्माय नम:
13) ॐ ज्ञानभूताय नम:
14) ॐ अनंतवैराग्यसिंघाय नम:
15) ॐ प्रधानाय नम:
16) ॐ व्योमात्मने नम:
17) ॐ युक्तकेशात्मरूपाय नम:
आर्थिक परेशानी से बचने हेतु
हर महीने में शिवरात्रि (मासिक शिवरात्रि - कृष्ण पक्ष की चतुर्दशी) को आती है | तो उस दिन जिसके घर में आर्थिक कष्ट रहते हैं वो शाम के समय या संध्या के समय जप-प्रार्थना करें एवं शिवमंदिर में दीप-दान करें ।
और रात को जब 12 बज जायें तो थोड़ी देर जाग कर जप और एक श्री हनुमान चालीसा का पाठ करें।तो आर्थिक परेशानी दूर हो जायेगी।
प्रति वर्ष में एक महाशिवरात्रि आती है और हर महीने में एक मासिक शिवरात्रि आती है। उस दिन शाम को बराबर सूर्यास्त हो रहा हो उस समय एक दिया पर पाँच लंबी बत्तियाँ अलग-अलग उस एक में हो शिवलिंग के आगे जला के रखना ।बैठ कर भगवान शिवजी के नाम का जप करना प्रार्थना करना,।इससे व्यक्ति के सिर पे कर्जा हो तो जल्दी उतरता है, आर्थिक परेशानियाँ दूर होती है ।


जनक्रांति प्रधान कार्यालय से नागेंद्र कुमार सिन्हा की अध्यात्मिक विचार प्रकाशक/सम्पादक राजेश कुमार वर्मा द्वारा कार्यालय रिपोर्ट प्रकाशित व प्रसारित ।

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